Friday, 04 December 2020 6:42
G.A Siddiqui
"नवीन परती पर बनी बहुमंजिला इमारत में संचालित है जिलापूर्ति कार्यालय।"
सिद्धार्थनगर। प्रदेश की योगी सरकार भू-माफियाओं पर शिकंजा कसने के लाख जतन कर रही है, मग़र अफसरों की मेहरबानी से भू-माफियाओं की सेहत पर कोई खासा फर्क नहीं पड़ा है। भूमाफिया आज भी सरकारी संपत्ति पर कब्जा जमा कर बैठे हुए हैं, और अफसरों के संज्ञान में होने के बाद भी भू-माफिया अपनी मनमर्जी से अवैध कब्जे पर निर्माण कार्य कर रहे हैं, जैसे उन्हें अफसरों का संरक्षण प्राप्त हो।भू-माफिया द्वारा अवैध कब्जे पर निर्माण को लेकर अफसर कितने गम्भीर हैं सहज अंदाजा लगाया जा सकता है
प्रदेश की योगी सरकार बनते ही कई बड़े अहम फैसले लिये, जिसमें भूमाफियाओं पर शिकंजा कसने के लिए एंटी भू-माफिया टास्क फोर्स का गठन किया गया। और भूमाफिया को चिन्हित कर उनके विरुद्ध कार्रवाई करने का फरमान जारी किया गया, लेकिन भूमाफियाओं के आगे योगी के फरमान का भी कोई असर नहीं दिख रहा। सदर तहसील के अंतर्गत नगरपालिका राहुल नगर में नवीन परती की जमीन पर बनी बहुमंजिला इमारत इस बात का प्रत्यक्ष प्रमाण है।
बता दें कि सदर तहसील के पीछे बनी बहुमंजिला भवन स्वामी ने गाटा संख्या 430 मिन्न से 561 वर्ग फिट जमीन का रजिस्टर्ड क्रय कर निर्माण कार्य शुरू किया। ततपश्चात पुनः गाटा संख्या 429 एवं 430 के कुछ अंश में निर्माण कार्य शुरू हुआ, जिसकी शिकायत पर नियत प्राधिकारी ने मामले को संज्ञान लेते हुए पांच सदस्यीय टीम गठित कर जाँच कराई। पांच सदस्यों की गठित टीम द्वारा सौंपी गई जांच आख्या के अनुसार गाटा संख्या 429 व 430 का कुछ अंश भवन स्वामी ने निर्माण करा लिया है, जो अभिलेख में नवीन परती दर्ज है। आज बहुमंजिला इमारत बन गई, जिसमें जिलापूर्ति का कार्यालय भी संचालित हो रहा है।
अब सवाल यह है कि आखिर प्रशासन को भूमाफिया के विरुद्ध कार्रवाई के लिये किस बात का इंतेजार है? आखिर भूमाफिया के विरुद्ध क्यों नहीं हो पा रही कार्रवाई? कही प्रशासन का भूमाफिया को संरक्षण तो प्राप्त नही? प्रशासन का भूमाफिया से इस कदर का रवैया कई सारे सवाल खड़े करता है। बहरहाल कुछ तो खास है कि जाँच रिपोर्ट में भवन नवीन परती में खड़ा है और प्रशासन लाचार। सूत्रों की माने तो बहुमंजिला इमारत के निर्माण में मोटी रकम का खेल हुआ है। साथ ही भवन स्वामी की राजनीतिक दलों में खासी पकड़ भी है, जिसमें बसपा के नेता का सीधा हस्तक्षेप बताया जाता है।
अब देखना यह है कि योगी सरकार द्वारा गठित एन्टी भूमाफिया की टीम उक्त प्रकरण का संज्ञान लेकर भूमाफिया के खिलाफ कब तक कार्रवाई करती है, या यह भी भूमाफिया के आगे नतमस्तक होकर शासन के फरमान पर पानी फेरती है, यह तो आने वाला समय ही बतायेगा।
इस सम्बंध में सदर एसडीएम ने दूरभाष पर बताया कि मामला संज्ञान में नही है। मामले को दिखवाता हूं।