Friday, 03 August 2018 08:40PM
Chaudhary Salman Nadwi
ब्यूरो रिपोर्ट। भोपाल ।
अंधेरे को कोसने की बजाए इसका बेहतर तरीका यह है कि एक चिराग जलाया जाए, जिससे कुछ रौशनी हो सके।
जहालत और गुमराही के अंधेरे को चीरने के लिए भी इल्म का चिराग जलाना जरूरी है।
जो कौम किताब-कलम से राब्ता रखती है, वह कभी नाकामयाबी के अंधेरे में नहीं डूब सकती।
काजी-ए-शहर सैयद मुश्ताक अली नदवी ने यह बात कही। वे शुक्रवार को औकाफ-ए-आम्मा जिला मुतवल्ली कमेटी द्वारा आयोजित निशुल्क पुस्तक वितरण समारोह को संबोधित कर रहे थे।
इस दौरान उन्होंने इल्म और तालीम को लेकर कहा कि इस्लाम के आखिरी पैगंबर हजरत मोहम्मद (स०अ०व०) ने भी तालीम की अहमियत बताई है।
औकाफ अल्लाह की जायदाद है और इस आमदनी का बच्चों की तालीम पर खर्च होना इस बात का सुबूत है कि इस जायदाद का इस्तेमाल वाकिफ की मंशा को सुकून पहुंचाने वाला है। उन्होंने औकाफ-ए-आम्मा और म०प्र० वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष शौकत मोहम्मद खान को इस काम के लिए मुबारकबाद दी।
कार्यक्रम में विशेष अतिथि के रूप में मौजूद नगर निगम के जोनाध्यक्ष पार्षद मनोज राठौर ने कहा कि शिक्षा एक ऐसा माध्यम है, जिससे इंसान को दुनिया और अपने ईश्वर को पहचानने का मार्ग प्रशस्त होता है।
शिक्षा के लिए किए जा रहे प्रयासों के लिए औकाफ-ए-आम्मा बधाई की पात्र है। गरीब और जरूरतमंद बच्चों को किताबें देकर उसने इनकी तालीमी मदद की है, जो इनका बेहतर भविष्य बनाएगी और बेहतर समाज का हिस्सा बनकर यह बच्चे कौम का नाम रौशन करेंगे।
म०प्र० वक्फ बोर्ड के चेयरमैन शौकत मोहम्मद खान ने इस मौके पर कहा कि अल्लाह ने कौम और वक्फ जायदाद सहेजने का जिम्मा दिया है, हम पूरी कोशिश, लगन, मेहनत और ईमानदारी से इस फर्ज को निभाने की कोशिश कर रहे हैं।
उन्होंने बताया कि उनके कार्यकाल में औकाफ की आमदनी में कई गुना इजाफ़ा हुआ है, जिससे गरीब बच्चों की तालीमी जरूरतों को पूरा करना आसान हुआ है।
खान ने प्रदेश सरकार द्वारा संचालित विभिन्न योजनाओं का जिक्र करते हुए कहा कि अब वह समय नहीं रहा, जब कोई बच्चा सिर्फ पैसा न होने के कारण अशिक्षित रह जाए।
उन्होंने कहा कि सरकारी योजनाओं का लाभ लेने के लिए आने वाली किसी भी परेशानी के लिए उनसे या उनके स्टॉफ से संपर्क किया जा सकता है।
औकाफ-ए-आम्मा द्वारा विभिन्न कक्षाओं के बच्चों को उनके स्कूली कोर्स का वितरण किया तो उनके चेहरे खुशियों से खिल उठे।
कक्षा 10वीं की छात्रा नायमा अख्तर ने कहा कि पढ़ाई जारी रखने की शिद्दत और महंगे कोर्स को खरीदने की मशक्कत ने कुछ बेड़ियाँ डाल दी थीं, लेकिन किताबें मिल जाने से उनके लिए तालीम का रास्ता आसान हो जाएगा।
कक्षा 9वीं के छात्र फरदीन ने कहा कि समाजसेवा करने वालों की भीड़ में तालीम के लिए उठाए गए इस कदम से बच्चों का मुस्तकबिल रौशन होगा।
कार्यक्रम में रियल लाइफ के "बजरंगी भाईजान" आबिद हुसैन, समाजसेवी प्रो० आफाक खान, असद मकसूद, मोहम्मद जुबैर आदि भी मौजूद थे। कार्यक्रम का संचालन फुरकान अहमद ने किया।